गणेश जी के 108 नाम । Ganesh Ji Ke 108 Naam

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Ganesh Ji Ke 108 Naam : दोस्तों इस लेख में हमने गणेश जी के 108 नाम लिखे है। जब भी हमारी घर में कोई पूजा, हवन या फिर शादी होती है तो सबसे पहले गणेश जी की पूजा की जाती है क्योंकि इनकी पूजा करने से सभी विघ्न दूर हो जाते है।

इसलिए जब भी कोई इनके 108 नाम का जब करता है तो उसके जीवन से सभी कष्ट और विपदा दूर हो जाती है। गणेश जी के 108 नाम का जप करने मात्र चाहिए से ही भगवान गणेश प्रसन्न हो जाते है। और वैभव, ऐश्वर्य, सौभाग्य, सफलता, धन, धान्य, यश, कीर्ति, पराक्रम, बुद्धि, विवेक, ज्ञान और तेजस्विता का आशीष प्रदान करते हैं।

Ganesh Ji Ke 108 Naam

इस लेख में हमने आपकी सहायता के लिए गणेश जी के 108 नाम मंत्र के साथ भी लिखे हैं और संस्कृत भाषा में भी इनका अनुवाद किया है। यदि आप इन नामों का PDF प्राप्त करना चाहते हैं तो हमने नीचे Ganesh Ji Ke 108 Naam ki PDF भी उपलब्ध करवाई है जिसे आप Free में Download कर सकते है।

Ganesh Ji Ke 108 Naam

  1. बालगणपति : सबसे प्रिय बालक
  2. भालचन्द्र : जिसके मस्तक पर चंद्रमा हो
  3. बुद्धिनाथ : बुद्धि के भगवान
  4. धूम्रवर्ण : धुंए को उड़ाने वाले
  5. गजवक्त्र: हाथी की तरह मुंह है
  6. गणाध्यक्ष : सभी जनों के मालिक
  7. गणपति : सभी गणों के मालिक
  8. मूषकवाहन : जिनका सारथी मूषक है
  9. निदीश्वरम : धन और निधि के दाता
  10. प्रथमेश्वर : सब के बीच प्रथम आने वाले
  11. शूपकर्ण : बड़े कान वाले देव
  12. शुभम : सभी शुभ कार्यों के प्रभु
  13. सिद्धिदाता: इच्छाओं और अवसरों के स्वामी
  14. सिद्दिविनायक : सफलता के स्वामी
  15. सुरेश्वरम : देवों के देव।
  16. वक्रतुण्ड : घुमावदार सूंड वाले
  17. अखूरथ : जिसका सारथी मूषक है
  18. गौरीसुत : माता गौरी के बेटे
  19. लम्बकर्ण : बड़े कान वाले देव
  20. लम्बोदर : बड़े पेट वाले
  21. महाबल : अत्यधिक बलशाली
  22. महागणपति : देवादिदेव
  23. अलम्पता : अनन्त देव।
  24. अमित : अतुलनीय प्रभु
  25. अनन्तचिदरुपम : अनंत और व्यक्ति चेतना वाले
  26. अवनीश : पूरे विश्व के प्रभु
  27. अविघ्न : बाधाएं हरने वाले।
  28. भीम : विशाल
  29. भूपति : धरती के मालिक
  30. भुवनपति: देवों के देव।
  31. देवादेव : सभी भगवान में सर्वोपरि
  32. देवांतकनाशकारी: बुराइयों और असुरों के विनाशक
  33. देवव्रत : सबकी तपस्या स्वीकार करने वाले
  34. देवेन्द्राशिक : सभी देवताओं की रक्षा करने वाले
  35. धार्मिक : दान देने वाले
  36. दूर्जा : अपराजित देव
  37. द्वैमातुर : दो माताओं वाले
  38. एकदंष्ट्र: एक दांत वाले
  39. ईशानपुत्र : भगवान शिव के बेटे
  40. बुद्धिप्रिय : ज्ञान के दाता
  41. बुद्धिविधाता : बुद्धि के मालिक
  42. चतुर्भुज: चार भुजाओं वाले
  43. महेश्वर: सारे ब्रह्मांड के भगवान
  44. मंगलमूर्ति : सभी शुभ कार्यों के देव
  45. एकाक्षर : एकल अक्षर
  46. एकदन्त: एक दांत वाले
  47. गजकर्ण : हाथी की तरह आंखों वाले
  48. गजानन: हाथी के मुख वाले भगवान
  49. गजवक्र : हाथी की सूंड वाले
  50. गदाधर : जिनका हथियार गदा है
  51. गणाध्यक्षिण : सभी पिंडों के नेता
  52. गुणिन: सभी गुणों के ज्ञानी
  53. हरिद्र : स्वर्ण के रंग वाले
  54. हेरम्ब : मां का प्रिय पुत्र
  55. कपिल : पीले भूरे रंग वाले
  56. कवीश : कवियों के स्वामी
  57. कीर्ति : यश के स्वामी
  58. कृपाकर : कृपा करने वाले
  59. कृष्णपिंगाश : पीली भूरी आंख वाले
  60. क्षेमंकरी : माफी प्रदान करने वाला
  61. क्षिप्रा : आराधना के योग्य
  62. मनोमय : दिल जीतने वाले
  63. मृत्युंजय : मौत को हराने वाले
  64. मूढ़ाकरम : जिनमें खुशी का वास होता है
  65. मुक्तिदायी : शाश्वत आनंद के दाता
  66. नादप्रतिष्ठित : जिन्हें संगीत से प्यार हो
  67. नमस्थेतु : सभी बुराइयों पर विजय प्राप्त करने वाले
  68. नन्दन: भगवान शिव के पुत्र
  69. सिद्धांथ: सफलता और उपलब्धियों के गुरु
  70. पीताम्बर : पीले वस्त्र धारण करने वाले
  71. प्रमोद : आनंद
  72. पुरुष : अद्भुत व्यक्तित्व
  73. रक्त : लाल रंग के शरीर वाले
  74. रुद्रप्रिय : भगवान शिव के चहेते
  75. सर्वदेवात्मन : सभी स्वर्गीय प्रसाद के स्वीकर्ता
  76. सर्वसिद्धांत : कौशल और बुद्धि के दाता
  77. वीरगणपति : वीर प्रभु
  78. विद्यावारिधि : बुद्धि के देव
  79. विघ्नहर : बाधाओं को दूर करने वाले
  80. विघ्नहत्र्ता: विघ्न हरने वाले
  81. विघ्नविनाशन : बाधाओं का अंत करने वाले
  82. विघ्नराज : सभी बाधाओं के मालिक
  83. विघ्नराजेन्द्र : सभी बाधाओं के भगवान
  84. विघ्नविनाशाय : बाधाओं का नाश करने वाले
  85. विघ्नेश्वर : बाधाओं के हरने वाले भगवान
  86. विकट : अत्यंत विशाल
  87. विनायक : सब के भगवान
  88. विश्वमुख : ब्रह्मांड के गुरु
  89. विश्वराजा : संसार के स्वामी
  90. सर्वात्मन : ब्रह्मांड की रक्षा करने वाले
  91. ओमकार : ओम के आकार वाले
  92. शशिवर्णम : जिनका रंग चंद्रमा को भाता हो
  93. शुभगुणकानन : जो सभी गुणों के गुरु हैं
  94. श्वेता : जो सफेद रंग के रूप में शुद्ध हैं
  95. सिद्धिप्रिय : इच्छापूर्ति वाले
  96. स्कन्दपूर्वज : भगवान कार्तिकेय के भाई
  97. सुमुख : शुभ मुख वाले
  98. स्वरूप : सौंदर्य के प्रेमी
  99. तरुण : जिनकी कोई आयु न हो
  100. उद्दण्ड : शरारती
  101. उमापुत्र : पार्वती के पुत्र
  102. वरगणपति : अवसरों के स्वामी
  103. वरप्रद : इच्छाओं और अवसरों के अनुदाता
  104. वरदविनायक: सफलता के स्वामी
  105. यज्ञकाय : सभी बलि को स्वीकार करने वाले
  106. यशस्कर : प्रसिद्धि और भाग्य के स्वामी
  107. यशस्विन : सबसे प्यारे और लोकप्रिय देव
  108. योगाधिप : ध्यान के प्रभु

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गणेश जी के 108 नाम संस्कृत में और मंत्र

गजानन- ॐ गजाननाय नमः ।
गणाध्यक्ष- ॐ गणाध्यक्षाय नमः ।
विघ्नराज- ॐ विघ्नराजाय नमः ।
विनायक- ॐ विनायकाय नमः ।
द्वैमातुर- ॐ द्वैमातुराय नमः ।
द्विमुख- ॐ द्विमुखाय नमः ।
प्रमुख- ॐ प्रमुखाय नमः ।
सुमुख-ॐ सुमुखाय नमः ।
कृति- ॐ कृतिने नमः ।
सुप्रदीप- ॐ सुप्रदीपाय नमः ॥ 10 ॥

सुखनिधी- ॐ सुखनिधये नमः ।
सुराध्यक्ष- ॐ सुराध्यक्षाय नमः ।
सुरारिघ्न- ॐ सुरारिघ्नाय नमः ।
महागणपति- ॐ महागणपतये नमः ।
मान्या- ॐ मान्याय नमः ।
महाकाल- ॐ महाकालाय नमः ।
महाबला- ॐ महाबलाय नमः ।
हेरम्ब- ॐ हेरम्बाय नमः ।
लम्बजठर- ॐ लम्बजठरायै नमः ।
ह्रस्वग्रीव- ॐ ह्रस्व ग्रीवाय नमः ॥ 20 ॥

महोदरा- ॐ महोदराय नमः ।
मदोत्कट- ॐ मदोत्कटाय नमः ।
महावीर- ॐ महावीराय नमः ।
मन्त्रिणे- ॐ मन्त्रिणे नमः ।
मङ्गल स्वरा- ॐ मङ्गल स्वराय नमः ।
प्रमधा- ॐ प्रमधाय नमः ।
प्रथम- ॐ प्रथमाय नमः ।
प्रज्ञा- ॐ प्राज्ञाय नमः ।
विघ्नकर्ता- ॐ विघ्नकर्त्रे नमः ।
विघ्नहर्ता- ॐ विघ्नहर्त्रे नमः ॥ 30 ॥

विश्वनेत्र- ॐ विश्वनेत्रे नमः ।
विराट्पति- ॐ विराट्पतये नमः ।
श्रीपति- ॐ श्रीपतये नमः ।
वाक्पति- ॐ वाक्पतये नमः ।
शृङ्गारिण- ॐ शृङ्गारिणे नमः ।
अश्रितवत्सल- ॐ अश्रितवत्सलाय नमः ।
शिवप्रिय- ॐ शिवप्रियाय नमः ।
शीघ्रकारिण- ॐ शीघ्रकारिणे नमः ।
शाश्वत – ॐ शाश्वताय नमः ।
बल- ॐ बल नमः ॥ 40 ॥

बलोत्थिताय- ॐ बलोत्थिताय नमः ।
भवात्मजाय- ॐ भवात्मजाय नमः ।
पुराण पुरुष- ॐ पुराण पुरुषाय नमः ।
पूष्णे- ॐ पूष्णे नमः ।
पुष्करोत्षिप्त वारिणे- ॐ पुष्करोत्षिप्त वारिणे नमः ।
अग्रगण्याय- ॐ अग्रगण्याय नमः ।
अग्रपूज्याय- ॐ अग्रपूज्याय नमः ।
अग्रगामिने- ॐ अग्रगामिने नमः ।
मन्त्रकृते- ॐ मन्त्रकृते नमः ।
चामीकरप्रभाय- ॐ चामीकरप्रभाय नमः ॥ 50 ॥

सर्वाय- ॐ सर्वाय नमः ।
सर्वोपास्याय- ॐ सर्वोपास्याय नमः ।
सर्व कर्त्रे- ॐ सर्व कर्त्रे नमः ।
सर्वनेत्रे- ॐ सर्वनेत्रे नमः ।
सर्वसिद्धिप्रदाय- ॐ सर्वसिद्धिप्रदाय नमः ।
सिद्धये- ॐ सिद्धये नमः ।
पञ्चहस्ताय- ॐ पञ्चहस्ताय नमः ।
पार्वतीनन्दनाय- ॐ पार्वतीनन्दनाय नमः ।
प्रभवे- ॐ प्रभवे नमः ।
कुमारगुरवे- ॐ कुमारगुरवे नमः ॥ 60 ॥

अक्षोभ्याय- ॐ अक्षोभ्याय नमः ।
कुञ्जरासुर भञ्जनाय- ॐ कुञ्जरासुर भञ्जनाय नमः ।
प्रमोदाय- ॐ प्रमोदाय नमः ।
मोदकप्रियाय- ॐ मोदकप्रियाय नमः ।
कान्तिमते- ॐ कान्तिमते नमः ।
धृतिमते- ॐ धृतिमते नमः ।
कामिने- ॐ कामिने नमः ।
कपित्थपनसप्रियाय- ॐ कपित्थपनसप्रियाय नमः ।
ब्रह्मचारिणे- ॐ ब्रह्मचारिणे नमः ।
ब्रह्मरूपिणे- ॐ ब्रह्मरूपिणे नमः ॥ 70 ॥

ब्रह्मविद्यादि दानभुवे- ॐ ब्रह्मविद्यादि दानभुवे नमः ।
जिष्णवे- ॐ जिष्णवे नमः ।
विष्णुप्रियाय- ॐ विष्णुप्रियाय नमः ।
भक्त जीविताय- ॐ भक्त जीविताय नमः ।
जितमन्मधाय- ॐ जितमन्मधाय नमः ।
ऐश्वर्यकारणाय- ॐ ऐश्वर्यकारणाय नमः ।
ज्यायसे- ॐ ज्यायसे नमः ।
यक्षकिन्नेर सेविताय- ॐ यक्षकिन्नेर सेविताय नमः।
गङ्गा सुताय- ॐ गङ्गा सुताय नमः ।
गणाधीशाय- ॐ गणाधीशाय नमः ॥ 80 ॥

गम्भीर निनदाय- ॐ गम्भीर निनदाय नमः ।
वटवे- ॐ वटवे नमः ।
अभीष्टवरदाय- ॐ अभीष्टवरदाय नमः ।
ज्योतिषे- ॐ ज्योतिषे नमः ।
भक्तनिधये- ॐ भक्तनिधये नमः ।
भावगम्याय- ॐ भावगम्याय नमः ।
मङ्गलप्रदाय- ॐ मङ्गलप्रदाय नमः ।
अव्यक्ताय- ॐ अव्यक्ताय नमः ।
अप्राकृत पराक्रमाय- ॐ अप्राकृत पराक्रमाय नमः ।
सत्यधर्मिणे- ॐ सत्यधर्मिणे नमः ॥ 90 ॥

सखये- ॐ सखये नमः ।
सरसाम्बुनिधये- ॐ सरसाम्बुनिधये नमः ।
महेशाय- ॐ महेशाय नमः ।
दिव्याङ्गाय- ॐ दिव्याङ्गाय नमः ।
मणिकिङ्किणी मेखालाय- ॐ मणिकिङ्किणी मेखालाय नमः ।
समस्त देवता मूर्तये- ॐ समस्त देवता मूर्तये नमः ।
सहिष्णवे- ॐ सहिष्णवे नमः ।
सततोत्थिताय- ॐ सततोत्थिताय नमः ।
विघातकारिणे- ॐ विघातकारिणे नमः ।
विश्वग्दृशे- ॐ विश्वग्दृशे नमः ॥ 100 ॥

विश्वरक्षाकृते- ॐ विश्वरक्षाकृते नमः ।
कल्याणगुरवे- ॐ कल्याणगुरवे नमः ।
उन्मत्तवेषाय- ॐ उन्मत्तवेषाय नमः ।
अपराजिते- ॐ अपराजिते नमः ।
समस्त जगदाधाराय- ॐ समस्त जगदाधाराय नमः ।
सर्वैश्वर्यप्रदाय- ॐ सर्वैश्वर्यप्रदाय नमः ।
आक्रान्त चिद चित्प्रभवे- ॐ आक्रान्त चिद चित्प्रभवे नमः ।
श्री विघ्नेश्वराय- ॐ श्री विघ्नेश्वराय नमः ॥ 108 ॥

॥ इति श्रीगणेशाष्टोत्तरशतनामावलिः सम्पूर्णा ॥

FAQ

गणेश जी के कुल कितने नाम हैं?

गणेश जी के अनेक नाम है लेकिन प्रमुख नाम केवल 108 नाम है

गणेश जी का असली नाम क्या है?

भगवान गणेशजी का मस्तक या सिर कटने के पूर्व उनका नाम विनायक था।

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